संसदीय समितियों की भूमिका
लोकसभा अध्यक्ष ने संसदीय समितियों को “संसदीय लोकतंत्र की रीढ़” बताया है। ये समितियाँ विधायी जांच और सरकार की जवाबदेही सुनिश्चित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं।
समितियाँ दलीय सीमाओं से परे काम करती हैं, जिसमें सत्तापक्ष और विपक्ष दोनों के सदस्य शामिल होते हैं। इससे संवेदनशील मुद्दों पर सहमति निर्माण संभव होता है।
समितियाँ विशेषज्ञ दृष्टिकोण भी प्रदान करती हैं। उदाहरण के लिए, स्वास्थ्य समिति ने सरोगेसी (विनियमन) विधेयक, 2016 की समीक्षा कर महत्वपूर्ण सुझाव दिए।
स्थिर जीके तथ्य: भारत की पहली संसदीय समिति लोक लेखा समिति (PAC) थी, जिसकी स्थापना 1921 में मांटेग्यू-चेम्सफोर्ड सुधारों के तहत हुई थी।
जवाबदेही और विकास सुनिश्चित करना
- समितियाँ लोक वित्त की प्रहरी हैं। 2024 में लोक लेखा समिति (PAC) ने चार मंत्रालयों के अधिक व्यय पर प्रश्न उठाए।
- ग्रामीण विकास समिति ने पंचायत संस्थानों को मिलने वाले घटते आवंटन पर चिंता जताई, जिससे ग्रामीण शासन का महत्व उजागर हुआ।
- समितियों ने कानूनों को भी मज़बूत किया। व्यक्तिगत डेटा संरक्षण विधेयक, 2019 को संयुक्त संसदीय समिति (JPC) की सिफारिशों के बाद संशोधित किया गया।
स्थिर जीके टिप: अनुमान समिति (Estimates Committee) भारत की सबसे बड़ी संसदीय समिति है, जिसमें 30 सदस्य होते हैं।
कार्यप्रणाली की चुनौतियाँ
महत्वपूर्ण होने के बावजूद समितियों को कई चुनौतियों का सामना करना पड़ता है—
- विधेयकों को समितियों को भेजना अनिवार्य नहीं है। इसका परिणाम यह हुआ कि—
- 15वीं लोकसभा: 71% विधेयक समितियों को भेजे गए।
- 16वीं लोकसभा: 28%
- 17वीं लोकसभा: केवल 16%।
- उपस्थिति दर: समिति बैठकों में औसत भागीदारी लगभग 50% है, जबकि संसद सत्रों में यह 84% रहती है।
- विशेषज्ञ व शोध सहायता का अभाव: कई समितियों के पास पर्याप्त तकनीकी सहयोग नहीं होता, जिससे गहन विश्लेषण बाधित होता है।
स्थिर जीके तथ्य: ब्रिटेन की संसद में लगभग सभी विधेयक विस्तृत जांच के लिए समितियों को भेजे जाते हैं।
समितियों को मज़बूत करने के उपाय
- विधेयकों का समितियों को अनिवार्य संदर्भ (UK मॉडल की तरह) लागू करना।
- सिफारिशों को स्वीकार/अस्वीकार करने में पारदर्शिता बढ़ाना।
- समितियों को तकनीकी सलाहकार और शोध सहयोग प्रदान करना, जिससे वे साक्ष्य–आधारित सुझाव दे सकें।
स्थिर जीके टिप: भारत की याचिका समिति (Committee on Petitions) नागरिकों को सीधे संसद के सामने अपनी शिकायत रखने का अवसर देती है।
Static Usthadian Current Affairs Table
विषय | विवरण |
राष्ट्रीय सम्मेलन | लोकसभा अध्यक्ष द्वारा उद्घाटन, SC/ST कल्याण पर केंद्रित |
समितियों की भूमिका | जवाबदेही, सहमति निर्माण, विधायी जांच |
उदाहरण विधेयक | सरोगेसी (विनियमन) विधेयक, 2016 – स्वास्थ्य समिति |
वित्तीय निगरानी | PAC ने 2024 में 4 मंत्रालयों के अतिरिक्त खर्च पर रिपोर्ट दी |
कानून मजबूत करना | डेटा संरक्षण विधेयक, 2019 – JPC सुझावों से संशोधित |
विधेयक संदर्भ दर | 15वीं LS: 71%, 16वीं LS: 28%, 17वीं LS: 16% |
उपस्थिति दर | समितियों में ~50% बनाम संसद सत्रों में 84% |
सबसे बड़ी समिति | अनुमान समिति (30 सदस्य) |
पहली समिति | लोक लेखा समिति (1921) |
वैश्विक प्रथा | ब्रिटेन में सभी विधेयक समितियों को भेजे जाते हैं |