विस्तार का शुभारंभ
मुख्यमंत्री एम.के. स्टालिन ने अगस्त 2025 में सरकारी सहायता प्राप्त शहरी विद्यालयों तक नाश्ता योजना का विस्तार किया। इस चरण का शुभारंभ चेन्नई में हुआ। अब यह योजना नगर और शहरों के सहायता प्राप्त विद्यालयों में कक्षा 1 से 5 तक के बच्चों को लाभान्वित करेगी।
योजना का दायरा
इस चरण में 2,430 सहायता प्राप्त प्राथमिक विद्यालयों को शामिल किया गया है, जिससे लगभग 3.06 लाख छात्र सीधे लाभान्वित होंगे। कुल मिलाकर अब यह योजना तमिलनाडु के 34,987 विद्यालयों में 17.53 लाख बच्चों तक पहुँच चुकी है। सरकार का लक्ष्य है कि हर वर्ष लगभग 20 लाख बच्चों को नाश्ता उपलब्ध कराया जाए। इसके लिए वार्षिक ₹600 करोड़ का बजट रखा गया है।
राष्ट्रीय प्रभाव
पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने इस पहल की सराहना की और पंजाब में इसे लागू करने की रुचि जताई। उन्होंने कहा कि पंजाब खाद्य अधिशेष राज्य है, इसलिए इस मॉडल को अपनाया जा सकता है। यह तमिलनाडु की कल्याणकारी नीतियों के राष्ट्रीय स्तर पर प्रभाव को दर्शाता है।
चरणबद्ध क्रियान्वयन
- 6 मई 2022: विधानसभा में पहली बार घोषणा
- 15 सितम्बर 2022: मदुरै से प्रथम चरण की शुरुआत
- मार्च 2023: नगर निगम और नगरपालिका क्षेत्रों तक विस्तार
- अगस्त 2023: राज्य के सभी सरकारी प्राथमिक विद्यालयों तक विस्तार
- जुलाई 2024: ग्रामीण क्षेत्रों के सहायता प्राप्त विद्यालयों तक विस्तार
- अगस्त 2025: वर्तमान 5वां चरण – शहरी सहायता प्राप्त विद्यालयों को शामिल किया गया
सामाजिक प्रभाव
इस योजना से विद्यालयों में उपस्थिति और ध्यान केंद्रित करने की क्षमता में वृद्धि हुई। अध्ययनों में दिसम्बर 2023 से दिसम्बर 2024 के बीच बच्चों में 63.2% अस्पताल में भर्ती होने की दर और 70.6% गंभीर बीमारियों में गिरावट दर्ज की गई। राज्य योजना आयोग ने बच्चों के स्वास्थ्य, विद्यालय जाने की इच्छा, भोजन की आदतों और कक्षा प्रदर्शन में सकारात्मक परिवर्तन की पुष्टि की।
स्थिर जीके तथ्य: तमिलनाडु ने सबसे पहले 1960 के दशक में के. कामराज के नेतृत्व में मध्याह्न भोजन योजना शुरू की थी, जिसे 1982 में एम.जी.आर. ने विस्तारित किया।
खाद्य मॉडल और गुणवत्ता नियंत्रण
- शहरी क्षेत्रों में: क्लाउड किचन का उपयोग, जिससे स्वचालित और समान गुणवत्ता वाला खाना तैयार होता है।
- ग्रामीण क्षेत्रों में: स्वयं सहायता समूह और अभिभावक भोजन तैयार करते हैं, जिससे सामुदायिक भागीदारी बढ़ती है।
स्थिर जीके तथ्य: 1989 में करुणानिधि ने मध्याह्न भोजन योजना में अंडा शामिल किया, जिसे 2010 तक बढ़ाकर सप्ताह में पाँच अंडे कर दिया गया।
कल्याणकारी राजनीति की परंपरा
तमिलनाडु में कल्याणकारी राजनीति की लंबी परंपरा रही है।
- अन्नादुरै (1967) – एक रुपये किलो चावल योजना
- एम.जी.आर. (1982) – मध्याह्न भोजन योजना का विस्तार
- करुणानिधि (1989) – भोजन में अंडा शामिल
- जयललिता (2011) – अम्मा उत्पाद
नाश्ता योजना इसी परंपरा की कड़ी है, जो शिक्षा और पोषण दोनों पर केंद्रित है।
Static Usthadian Current Affairs Table
| विषय | विवरण |
| योजना का विस्तार | CM एम.के. स्टालिन द्वारा अगस्त 2025 में |
| कवरेज | 2,430 सहायता प्राप्त शहरी विद्यालय |
| लाभार्थी | कक्षा 1–5 के 3.06 लाख छात्र |
| कुल कवरेज | 17.53 लाख छात्र, 34,987 विद्यालय |
| वार्षिक आवंटन | ₹600 करोड़ |
| प्रथम चरण | 15 सितम्बर 2022, मदुरै |
| राष्ट्रीय प्रभाव | पंजाब CM भगवंत मान ने प्रशंसा की |
| स्वास्थ्य प्रभाव | 63.2% अस्पताल भर्ती में कमी, 70.6% गंभीर बीमारियों में गिरावट |
| खाद्य मॉडल | शहरी क्षेत्रों में क्लाउड किचन, ग्रामीण में स्वयं सहायता समूह |





