कार्यक्रम का उद्घाटन
तमिलनाडु के मुख्यमंत्री ने चेन्नई ट्रेड सेंटर में आयोजित एयरोडिफकॉन 2025 (AeroDefCon 2025) का उद्घाटन किया।
यह तीन दिवसीय वैश्विक एयरोस्पेस और रक्षा सम्मेलन घरेलू और अंतरराष्ट्रीय प्रतिभागियों को एक साथ लाता है।
कार्यक्रम तमिलनाडु की तकनीकी नवाचार और सामरिक उद्योग विकास में बढ़ती भूमिका को प्रदर्शित करता है।
स्थैतिक जीके तथ्य: चेन्नई, तमिलनाडु की राजधानी है और यह भारत का एयरोस्पेस और विनिर्माण उद्योग का प्रमुख केंद्र है।
आयोजक और समर्थन
इस आयोजन का संयुक्त रूप से आयोजन TIDCO (Tamil Nadu Industrial Development Corporation),
AIDAT (Aerospace Industry Development Association of Tamil Nadu) और फ्रांस की BCI एयरोस्पेस द्वारा किया गया है।
कार्यक्रम को भारत के रक्षा मंत्रालय (Ministry of Defence) का सक्रिय सहयोग प्राप्त है, जिससे यह राष्ट्रीय रक्षा प्राथमिकताओं के अनुरूप है।
स्थैतिक जीके टिप: TIDCO की स्थापना 1965 में तमिलनाडु में औद्योगिक विकास को प्रोत्साहित करने के लिए की गई थी।
फोकस और उद्देश्य
एयरोडिफकॉन 2025 का मुख्य फोकस स्वदेशीकरण (Indigenisation), आत्मनिर्भरता (Self-Reliance) और
वैश्विक आपूर्ति श्रृंखला में एकीकरण (Integration into Global Supply Chain) पर है।
इस आयोजन में एयरोस्पेस तकनीक, रक्षा उपकरण, और अंतरराष्ट्रीय सहयोग में किए गए नवाचारों का प्रदर्शन किया गया।
यह कार्यक्रम ‘आत्मनिर्भर भारत मिशन’ के अंतर्गत घरेलू उत्पादन क्षमताओं को बढ़ावा देने में सहायक है।
स्थैतिक जीके तथ्य: भारत वैश्विक रक्षा उत्पादन में शीर्ष पाँच देशों में शामिल है और अब स्वदेशी निर्माण पर अधिक बल दे रहा है।
भागीदारी और सहयोग
कार्यक्रम में BCI एयरोस्पेस जैसी अंतरराष्ट्रीय कंपनियों के साथ भारतीय निर्माता, स्टार्टअप्स और अनुसंधान संस्थान शामिल हुए।
प्रतिभागियों ने ड्रोन, एवियोनिक्स और रक्षा इलेक्ट्रॉनिक्स जैसी अत्याधुनिक तकनीकों का प्रदर्शन किया।
यह मंच निवेश, तकनीकी आदान-प्रदान और दीर्घकालिक साझेदारी को बढ़ावा देता है।
स्थैतिक जीके टिप: तमिलनाडु, भारत के कुल एयरोस्पेस उद्योग उत्पादन का लगभग 25% योगदान देता है।
सामरिक और आर्थिक महत्व
यह सम्मेलन तमिलनाडु को रक्षा और एयरोस्पेस उद्योग का प्रमुख केंद्र बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
यह ‘मेक इन इंडिया’ और वैश्विक प्रतिस्पर्धात्मकता लक्ष्यों के अनुरूप है।
कार्यक्रम के माध्यम से राज्य ने घरेलू नवाचार को प्रोत्साहित करते हुए वैश्विक सहयोग को मजबूत किया है,
जिससे उसकी रणनीतिक क्षमता और औद्योगिक पारिस्थितिकी तंत्र को बल मिला है।
स्थैतिक जीके तथ्य: रक्षा मंत्रालय देशभर में उद्योग–अकादमिक सहयोग कार्यक्रमों के माध्यम से रक्षा निर्माण क्षमताओं को विकसित कर रहा है।
Static Usthadian Current Affairs Table
विषय (Topic) | विवरण (Detail) |
अवधि | 3 दिन |
स्थान | चेन्नई ट्रेड सेंटर, तमिलनाडु |
आयोजक संस्थाएँ | TIDCO (Tamil Nadu Industrial Development Corporation), AIDAT (Aerospace Industry Development Association of Tamil Nadu), BCI Aerospace (फ्रांस) |
सहयोग | भारत का रक्षा मंत्रालय |
मुख्य फोकस क्षेत्र | स्वदेशीकरण, आत्मनिर्भरता और वैश्विक आपूर्ति श्रृंखला में एकीकरण |
प्रतिभागी | भारतीय निर्माता, अंतरराष्ट्रीय प्रतिनिधि, स्टार्टअप्स, अनुसंधान संस्थान |
रणनीतिक महत्व | तमिलनाडु को एयरोस्पेस और रक्षा उद्योग के केंद्र के रूप में सशक्त बनाना |
आर्थिक प्रभाव | निवेश, रोजगार और तकनीकी नवाचार को प्रोत्साहन |
नीतिगत संरेखण | आत्मनिर्भर भारत और मेक इन इंडिया पहल का समर्थन |