पोषण पखवाड़ा 2025: भारत के पोषण मिशन को नई ऊर्जा
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कुपोषण के खिलाफ केंद्रित राष्ट्रीय पहल
भारत सरकार ने 8 से 22 अप्रैल 2025 तक पोषण अभियान के तहत 7वें पोषण पखवाड़े का शुभारंभ किया है। इसका उद्देश्य कुपोषण से सबसे अधिक प्रभावित वर्गों—बच्चे, गर्भवती महिलाएं, धात्री माताएं और किशोरियों के पोषण परिणामों को सशक्त बनाना है। यह अभियान सामुदायिक भागीदारी को प्रोत्साहित करता है और पोषण ट्रैकर जैसे डिजिटल टूल के माध्यम से ज़मीनी स्तर पर जागरूकता और निगरानी में सुधार लाता है।
पोषण पखवाड़ा 2025 के प्रमुख विषय
इस वर्ष के अभियान में चार प्रमुख विषयों पर विशेष ध्यान दिया गया है:
- “जीवन के पहले 1000 दिन”, गर्भधारण से लेकर बच्चे के दो साल की आयु तक के पोषण की अहमियत को रेखांकित करता है।
- पोषण ट्रैकर का लाभार्थी मॉड्यूल, नागरिकों को सीधे पोषण डिलीवरी की निगरानी में भाग लेने में सक्षम बनाता है।
- CMAM (Community-Based Management of Acute Malnutrition)—स्थानीय तरीकों से गंभीर कुपोषण से निपटने की रणनीति।
- बचपन में मोटापा, जो एक बढ़ती हुई चिंता है, इसके लिए स्वस्थ जीवनशैली पर विशेष जागरूकता अभियान चलाए जा रहे हैं।
राष्ट्रीय स्तर पर मंत्रालयों की संयुक्त भागीदारी
इस कार्यक्रम का नेतृत्व महिला एवं बाल विकास मंत्रालय कर रहा है और इसमें पाँच प्रमुख मंत्रालयों—स्वास्थ्य, ग्रामीण विकास, शिक्षा, जल शक्ति और पंचायती राज का सहयोग है। यह संयुक्त प्रयासों के माध्यम से ज़िला और ग्राम स्तर पर समान उत्तरदायित्व सुनिश्चित करता है। देशभर में घर–घर दौरे, पोषण मेलों और शैक्षणिक सत्रों का आयोजन किया जा रहा है।
जागरूकता से क्रियान्वयन तक: समुदाय की भागीदारी
इस अभियान का एक प्रमुख उद्देश्य समुदाय को कुपोषण प्रबंधन में भागीदार बनाना है। क्षेत्रीय कार्यकर्ता पोषण ट्रैकर से जोखिम में बच्चों की पहचान कर रहे हैं और स्वयंसेवक स्तनपान, पूरक आहार और स्वच्छता पर घर-घर जाकर जागरूकता फैला रहे हैं। महिला स्वयं सहायता समूह भी सक्रिय रूप से इन गतिविधियों में भाग लेकर पोषण को घर–घर की चर्चा का विषय बना रहे हैं।
2018 से अब तक की यात्रा
पोषण अभियान की शुरुआत 8 मार्च 2018 को झुंझुनू, राजस्थान से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा की गई थी। इसका उद्देश्य था बौनापन, कुपोषण, एनीमिया और कम वजन वाले जन्मों को कम करना। तब से हर साल पोषण पखवाड़ा एक वार्षिक मूल्यांकन और जागरूकता अभियान बन गया है। भारत के SDG 2030 लक्ष्य को पूरा करने में, यह पोषण प्रयास महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है।
स्थैतिक जीके झलक (Static GK Snapshot)
विषय | विवरण |
अभियान का नाम | पोषण पखवाड़ा 2025 |
अवधि | 8 अप्रैल – 22 अप्रैल 2025 |
प्रमुख मंत्रालय | महिला एवं बाल विकास मंत्रालय |
पोषण अभियान प्रारंभ | 2018 (झुंझुनू, राजस्थान) |
प्रमुख विषय | पहले 1000 दिन, पोषण ट्रैकर, CMAM, मोटापा |
डिजिटल टूल | पोषण ट्रैकर लाभार्थी मॉड्यूल |
मुख्य उद्देश्य | बौनापन, एनीमिया और कुपोषण को कम करना |
लक्षित समूह | 0–6 वर्ष के बच्चे, 15–49 वर्ष की महिलाएं, किशोरियां |
कार्यान्वयन तरीका | सामुदायिक भागीदारी, बहु-मंत्रालयीय समन्वय |