केंद्र सरकार द्वारा निधि जारी
केंद्र सरकार ने समग्र शिक्षा अभियान के माध्यम से तमिलनाडु को शिक्षा का अधिकार (RTE) के अंतर्गत ₹538.39 करोड़ जारी किए हैं। इनमें से ₹362 करोड़ वित्त वर्ष 2024–25 के लिए आवंटित हैं, जबकि ₹175.59 करोड़ 2025–26 की पहली किश्त है। यह राशि RTE अधिनियम, 2009 के अनुसार पात्र बच्चों को निःशुल्क एवं अनिवार्य शिक्षा उपलब्ध कराने में स्कूलों की सहायता के लिए है।
स्थैतिक जीके तथ्य: RTE अधिनियम 1 अप्रैल 2010 से लागू हुआ और इसे संविधान के अनुच्छेद 21A के तहत मौलिक अधिकार बनाया गया।
वंचित बच्चों के लिए सीट आरक्षण
RTE प्रावधानों के अनुसार, निजी स्कूलों की प्रवेश-स्तर कक्षाओं में 25% सीटें आर्थिक रूप से कमजोर और वंचित वर्गों के बच्चों के लिए आरक्षित हैं। इन बच्चों को निःशुल्क शिक्षा का अधिकार है और सरकार निजी स्कूलों को प्रतिपूर्ति करती है। तमिलनाडु ने इस प्रावधान को लगातार लागू कर कम-आय परिवारों के बच्चों की पहुँच बेहतर बनाई है।
स्थैतिक जीके तथ्य: भारत उन कुछ देशों में है जहाँ 6–14 वर्ष के बच्चों के लिए निःशुल्क और अनिवार्य शिक्षा संवैधानिक गारंटी है।
निधि आवंटन में कानूनी चुनौतियाँ
2024 में मद्रास उच्च न्यायालय ने केंद्र को निर्देश दिया कि RTE प्रतिपूर्ति को समग्र शिक्षा से डिलिंक करने पर विचार करे, क्योंकि लिंक होने से राज्यों को राशि पहुँचाने में देरी और अकार्यक्षमता आती है। इसके बाद तमिलनाडु सरकार ने सर्वोच्च न्यायालय में विशेष अनुमति याचिका (SLP) दायर कर केंद्र के हिस्से की राशि समय पर जारी करने के लिए बाध्यकारी निर्देश माँगे।
समय पर निधि जारी करने का महत्व
RTE निधि में देरी से विशेषकर वे निजी विद्यालय प्रभावित होते हैं जो 25% आरक्षण लागू करते हैं। समय पर प्रतिपूर्ति न होने पर विद्यालयों पर वित्तीय दबाव बढ़ता है, जिससे वंचित बच्चों की शिक्षा की गुणवत्ता प्रभावित हो सकती है। न्यायपालिका का हस्तक्षेप केंद्र-राज्य दायित्वों के बीच तनाव को दर्शाता है, जबकि तमिलनाडु की सक्रिय पहल सुनिश्चित करती है कि वंचित बच्चों के अधिकार सुरक्षित रहें।
स्थैतिक जीके टिप: शिक्षा समवर्ती सूची का विषय है—इस पर केंद्र और राज्य, दोनों कानून बना सकते हैं।
आगे की राह
पूर्वानुमेय निधि प्रवाह, बेहतर मॉनिटरिंग, और प्रतिपूर्ति प्रणाली में जवाबदेही अनिवार्य हैं। तमिलनाडु के कानूनी कदम दिखाते हैं कि RTE की सफलता के लिए मजबूत फंडिंग तंत्र ज़रूरी है। राज्य-स्तरीय शिक्षा ढाँचे को केंद्र के सहयोग से सुदृढ़ करना समावेशी स्कूली शिक्षा के लिए महत्वपूर्ण है।
स्थिर उस्तादियन करेंट अफेयर्स तालिका
विषय (Topic) | विवरण (Detail) |
कुल RTE निधि जारी | ₹538.39 करोड़ |
2024–25 के लिए आवंटन | ₹362 करोड़ |
2025–26 की पहली किश्त | ₹175.59 करोड़ |
निजी विद्यालयों में सीट आरक्षण | 25% वंचित बच्चों के लिए |
RTE अधिनियम वर्ष | 2009 |
लागू होने की तिथि | 1 अप्रैल 2010 |
संवैधानिक आधार | अनुच्छेद 21A |
डिलिंकिंग पर निर्देश देने वाली अदालत | मद्रास उच्च न्यायालय |
दायर याचिका | सर्वोच्च न्यायालय में SLP |
शिक्षा का शासन | समवर्ती सूची का विषय |