वैश्विक एसडीजी ढाँचे की समझ
सतत विकास लक्ष्य (SDGs) संयुक्त राष्ट्र द्वारा 2015 में अपनाया गया एक वैश्विक एजेंडा है, जिसका उद्देश्य 2030 तक गरीबी, शिक्षा, स्वच्छ ऊर्जा, आर्थिक विकास और जलवायु परिवर्तन जैसे मुद्दों का समाधान करना है। कुल 17 लक्ष्य हैं और प्रत्येक लक्ष्य के लिए प्रदर्शन मापने हेतु संकेतक निर्धारित किए गए हैं। दुनिया का सबसे अधिक जनसंख्या वाला देश होने के नाते, भारत की भूमिका इस मिशन में अत्यंत महत्वपूर्ण है।
भारत का एसडीजी प्रदर्शन
स्टेट ऑफ स्टेट्स रिपोर्ट 2025 के अनुसार, भारत 16 में से 9 एसडीजी लक्ष्यों में पिछड़ रहा है। रिपोर्ट में 36 राज्य और केंद्र शासित प्रदेशों का मूल्यांकन किया गया, और पाया गया कि कुछ ही लक्ष्य ऐसे हैं जहाँ निरंतर प्रगति हुई है—जैसे कि SDG 3 (स्वास्थ्य), SDG 6 (जल और स्वच्छता), SDG 7 (सस्ती और स्वच्छ ऊर्जा), और SDG 8 (उचित काम और आर्थिक विकास)। SDG 14 (जल के नीचे जीवन) केवल तटीय राज्यों पर लागू होता है, इसलिए इसे रिपोर्ट से बाहर रखा गया है।
संकेतकों की अनुपस्थिति और ढाँचे की कमियाँ
भारत में वर्तमान एसडीजी फ्रेमवर्क में कई महत्वपूर्ण संकेतक गायब हैं या हटा दिए गए हैं। उदाहरण के लिए, SDG 1 (गरीबी उन्मूलन) अब अत्यधिक गरीबी की प्रत्यक्ष माप नहीं करता। SDG 6 में जल गुणवत्ता से संबंधित कोई सूचक नहीं है, जो स्वच्छता और स्वास्थ्य के लिए आवश्यक है।
SDG 7 में कार्बन उत्सर्जन और नवीकरणीय ऊर्जा हिस्सेदारी से जुड़े दो वैश्विक संकेतक गायब हैं। SDG 11 (सतत शहर) में वायु गुणवत्ता और सार्वजनिक परिवहन को शामिल नहीं किया गया है। SDG 12 में इलेक्ट्रॉनिक कचरा प्रबंधन को नजरअंदाज किया गया है।
राज्यवार असमानताएँ
भारत के हर राज्य और केंद्र शासित प्रदेश कुछ न कुछ प्रमुख संकेतकों में पिछड़ते हैं। उत्तराखंड और तमिलनाडु अपेक्षाकृत अच्छा प्रदर्शन करते हैं लेकिन फिर भी हर छठे संकेतक में पिछड़ जाते हैं। वहीं उत्तर प्रदेश और गुजरात जैसे बड़े राज्य, 30% से अधिक संकेतकों में आधे से कम लक्ष्य प्राप्त कर पाए हैं। इससे विकास में क्षेत्रीय विषमता स्पष्ट होती है।
डेटा संग्रहण की चुनौतियाँ
डेटा की कमी एक बड़ी बाधा है। भारत ज्यादातर राज्यों के लिए 106 संकेतकों और तटीय राज्यों के लिए 108 संकेतकों को ट्रैक करता है, फिर भी कई क्षेत्रों में जानकारी अधूरी है। SDG 14 के लिए अंडमान और निकोबार व लक्षद्वीप के डेटा उपलब्ध नहीं हैं। SDG 15 (स्थलीय पारिस्थितिकी तंत्र) के लिए 13 राज्यों में वनीकरण संबंधी डेटा गायब है।
भविष्य की दिशा और समाधान
ये निष्कर्ष SDG इंडेक्स 2023–24 और सस्टेनेबल डेवेलपमेंट रिपोर्ट 2024 पर आधारित हैं। भारत को अगले 5 वर्षों में निर्णायक कदम उठाने होंगे, जिनमें सुधार–आधारित नीतियाँ, मजबूत डेटा सिस्टम और राज्यों की जवाबदेही प्रमुख हैं। इरादे की कमी नहीं, पर अब ज़रूरत है समावेशी कार्यान्वयन की।
STATIC GK SNAPSHOT – प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए जानकारी सारांश
विषय | विवरण |
एसडीजी की कुल संख्या | 17 लक्ष्य |
वैश्विक समयसीमा | 2030 |
भारत के पिछड़े लक्ष्य | 16 में से 9 |
सबसे अच्छा प्रदर्शन | SDG 3, SDG 6, SDG 7, SDG 8 |
रिपोर्ट से हटाया गया लक्ष्य | SDG 14 (केवल तटीय राज्यों हेतु) |
गायब मापदंड | गरीबी दर, जल गुणवत्ता, वायु गुणवत्ता |
कम अंतर वाले शीर्ष राज्य | उत्तराखंड, तमिलनाडु |
प्रमुख अंतर वाले राज्य | उत्तर प्रदेश, गुजरात |
राष्ट्रीय स्रोत | SDG Index 2023–24, SD Report 2024 |