चेंगलपेट्टू में जल संरक्षण को नया जीवन
तमिलनाडु का चेंगलपेट्टू ज़िला अब पर्यावरणीय पुनर्स्थापन की दिशा में अग्रणी बन गया है। “मिशन ब्लू–ग्रीन चेंगलपेट्टू” नामक इस अभियान का लक्ष्य क्षेत्र के 500 जल टैंकों में से 200 से अधिक सूक्ष्म सिंचाई टैंकों को पुनर्जीवित करना है।
ज़िला ग्रामीण विकास एजेंसी (DRDA) इस प्रयास की अगुवाई कर रही है, ताकि वर्षा ऋतु के पहले जल संरचना सुदृढ़ की जा सके।
समुदाय और स्वयंसेवी संगठनों की साझेदारी
DRDA ने 388 अतिरिक्त टैंकों के पुनर्जीवन के लिए स्वयंसेवी संगठनों को समर्थन दिया है। यह सहयोगात्मक मॉडल पारिस्थितिकीय प्रभाव को व्यापक बनाएगा।
एक प्रमुख भागीदार Environmental Foundation of India (EFI) है, जो 100 जल टैंकों की पुनर्स्थापना का कार्य पर्यावरण–हितैषी तकनीकों से कर रही है।
सतत जल प्रबंधन की तकनीकें
EFI द्वारा उपयोग की जा रही रूट–ज़ोन प्लांट फिल्ट्रेशन तकनीक में जलीय पौधों का उपयोग कर अपशिष्ट जल का प्राकृतिक शुद्धिकरण किया जाता है। यह प्रक्रिया भूजल पुनर्भरण को भी प्रोत्साहित करती है।
इस तकनीक की खास बात यह है कि यह रसायन मुक्त, किफायती और दीर्घकालिक समाधान प्रदान करती है।
Static GK तथ्य: रूट-ज़ोन फिल्ट्रेशन को कंस्ट्रक्टेड वेटलैंड ट्रीटमेंट भी कहा जाता है और यह जर्मनी, स्वीडन, भारत जैसे देशों में प्रयुक्त होती है।
मानसून से पहले त्वरित कार्रवाई
उत्तरपूर्वी मानसून के आगमन से पहले DRDA की योजना है कि अधिकांश पुनर्जीवन कार्य अक्टूबर 2025 की शुरुआत तक पूरा हो जाए।
इसका उद्देश्य है कि ये टैंक वर्षा जल संग्रह कर सकें, बाढ़ को रोक सकें और भूजल पुनर्भरण में सहायक बनें।
Static GK तथ्य: तमिलनाडु ऐसा प्रमुख राज्य है जो मुख्यतः उत्तरपूर्वी मानसून पर निर्भर रहता है, जबकि अधिकांश राज्य दक्षिण–पश्चिम मानसून पर निर्भर हैं।
कृषि और पारिस्थितिकी के लिए दीर्घकालिक लाभ
इन टैंकों के पुनर्जीवन से कृषि के लिए जल की उपलब्धता, भूजल स्तर में सुधार, और पक्षियों व जलीय जीवन के लिए आवास मिलेगा। यह पहल राज्य की जल सुरक्षा और जलवायु सहनशीलता के दीर्घकालिक लक्ष्यों से जुड़ी हुई है।
Static GK टिप: दक्षिण भारत में सूक्ष्म सिंचाई टैंक प्राचीन समय से जल प्रबंधन की पारंपरिक प्रणाली का हिस्सा रहे हैं, विशेषकर तमिलनाडु, कर्नाटक, और आंध्र प्रदेश में।
Static Usthadian Current Affairs Table
विषय | विवरण |
मिशन का नेतृत्व करने वाला ज़िला | चेंगलपेट्टू, तमिलनाडु |
ज़िले में कुल टैंक | लगभग 500 |
वर्तमान पुनर्जीवन के अंतर्गत टैंक | 200+ |
साझेदार NGO | Environmentalist Foundation of India (EFI) |
प्रयुक्त तकनीक | रूट-ज़ोन प्लांट फिल्ट्रेशन |
अपेक्षित पूर्णता | अक्टूबर 2025 की शुरुआत |
तमिलनाडु का मानसून प्रकार | उत्तरपूर्वी मानसून |
प्रमुख उद्देश्य | जल पुनर्स्थापन और भूजल पुनर्भरण |
अतिरिक्त टैंक पुनर्जीवन का लक्ष्य | 388 |
दीर्घकालिक प्रभाव | जल सुरक्षा, कृषि सहायता, पारिस्थितिक पुनरुद्धार |