पूर्वोत्तर भारत में खेलों के विकास पर केंद्रित पहल
पूर्वोत्तर भारत में खेलों को बढ़ावा देने के लिए एक बड़ा कदम उठाते हुए सरकार ने घोषणा की है कि खेलो इंडिया नॉर्थईस्ट गेम्स 2025 अब हर साल आयोजित किए जाएंगे। यह घोषणा Rising Northeast Investors Summit 2025 के दौरान केंद्रीय खेल मंत्री डॉ. मनसुख मांडविया ने की। उन्होंने बताया कि यह खेल प्रतियोगिता आठों पूर्वोत्तर राज्यों में घूमती प्रणाली (rotational basis) पर आयोजित की जाएगी। यह निर्णय क्षेत्र की खेल संस्कृति और प्रतिभा को राष्ट्रीय पहचान दिलाने के उद्देश्य से लिया गया है।
पारंपरिक और जमीनी खेलों को बढ़ावा
यह पहल केवल एक बड़ी खेल प्रतियोगिता तक सीमित नहीं है। इसका उद्देश्य पूर्वोत्तर भारत की जमीनी खेल संस्कृति को सशक्त बनाना है। खास ध्यान पारंपरिक और स्थानीय खेलों पर दिया जाएगा जो अक्सर मुख्यधारा की प्रतियोगिताओं में दब जाते हैं। इसका मकसद स्थानीय संस्कृति को जीवित रखना और प्राकृतिक प्रतिभा को संवारना है। मणिपुर, असम और मिजोरम जैसे राज्यों ने पहले ही फुटबॉल, मुक्केबाज़ी और वेटलिफ्टिंग जैसे खेलों में भारत को वैश्विक स्तर पर गौरवान्वित किया है।
आठ राज्यों में बारी-बारी से आयोजन
अरुणाचल प्रदेश, असम, मणिपुर, मेघालय, मिजोरम, नागालैंड, सिक्किम और त्रिपुरा इन आठ राज्यों में बारी–बारी से खेलों का आयोजन किया जाएगा। इससे प्रत्येक राज्य में खेल अवसंरचना का समान विकास होगा और दूर–दराज के युवाओं को राष्ट्रीय मंच मिलेगा। यह पहल 2030 राष्ट्रमंडल खेलों और 2036 ओलंपिक की तैयारी में भी मददगार मानी जा रही है।
बुनियादी ढांचे में निवेश और केंद्रों की स्थापना
सरकार ने 2021 में खेलो इंडिया योजना के अंतर्गत ₹439 करोड़ की राशि 64 परियोजनाओं में निवेश की। इनमें शामिल हैं:
• सिंथेटिक टर्फ
• बहुउद्देशीय हॉल
• हॉस्टल
• स्विमिंग पूल
वर्तमान में पूर्वोत्तर में:
• 86 सक्रिय खेल परियोजनाएं
• 250 खेलो इंडिया केंद्र (KICs) – 8,000+ खिलाड़ी
• 8 राज्य केंद्र (KISCEs)
• 3 राष्ट्रीय उत्कृष्टता केंद्र (NCOEs) – गुवाहाटी, ईटानगर, इंफाल
ये आंकड़े क्षेत्र को खेल शक्ति केंद्र में बदलने की गंभीरता दर्शाते हैं।
प्रतिभा खोज में तकनीकी पहल
खिलाड़ियों की पहचान के लिए सरकार ने नेशनल स्पोर्ट्स रिपॉजिटरी सिस्टम (NSRS) नामक पोर्टल शुरू किया है। इसमें लोग उभरते खिलाड़ियों के वीडियो अपलोड कर सकते हैं, जिन्हें खेल प्राधिकरण (SAI) के विशेषज्ञ जांचेंगे और चुने गए खिलाड़ियों को प्रशिक्षण कार्यक्रमों में शामिल किया जाएगा।
ASMITA के माध्यम से बेटियों को मंच
महिलाओं की भागीदारी को बढ़ावा देने के लिए ASMlTA लीग शुरू की गई है। 13,000 से अधिक लड़कियों ने इसमें भाग लिया है, जिससे महिला खिलाड़ियों को मंच और प्रोत्साहन मिला है।
पूर्व उपलब्धियां और भविष्य की दिशा
2023 में आयोजित खेलो इंडिया अष्टलक्ष्मी यूनिवर्सिटी गेम्स ने इस दिशा में नींव रखी। इसमें एथलेटिक्स, फुटबॉल, तीरंदाजी और मुक्केबाज़ी जैसी प्रतियोगिताएं सफलतापूर्वक आयोजित की गईं। इससे यह साबित हुआ कि पूर्वोत्तर क्षेत्र राष्ट्रीय स्तर के आयोजनों का जिम्मेदारी से संचालन कर सकता है।
Static Usthadian Current Affairs Table
विषय | विवरण |
घोषणा मंच | Rising Northeast Investors Summit 2025 |
पहल का नाम | खेलो इंडिया नॉर्थईस्ट गेम्स |
संबंधित मंत्री | डॉ. मनसुख मांडविया |
शामिल राज्य | 8 पूर्वोत्तर राज्य |
उद्देश्य | प्रतिभा पोषण, अवसंरचना विकास, पारंपरिक खेल |
2021 निवेश | ₹439 करोड़ – 64 परियोजनाएं |
सक्रिय KICs | 250+ |
सक्रिय KISCEs | 8 |
पूर्वोत्तर में NCOEs | गुवाहाटी, ईटानगर, इंफाल |
ASMITA में लड़कियां | 13,000+ प्रतिभागी |
प्रतिभा पहचान पोर्टल | नेशनल स्पोर्ट्स रिपॉजिटरी सिस्टम (NSRS) |