यह कदम क्यों महत्वपूर्ण है
ग्रामीण क्षेत्रों में दृश्य अनुशासन और स्थानीय शासन में पारदर्शिता सुनिश्चित करने के उद्देश्य से, तमिलनाडु सरकार ने ग्राम पंचायत क्षेत्रों में होर्डिंग्स, डिजिटल बैनर्स और पोस्टर्स की स्थापना को विनियमित करने के लिए एक नया विधेयक पेश किया है। अभी तक तमिलनाडु पंचायत अधिनियम की धारा 172-बी केवल विज्ञापनों के प्रदर्शन के नियम बनाने की अनुमति देती थी, परंतु वास्तविक स्थापना को नियंत्रित करने का अधिकार नहीं देती थी। इस कानूनी खामी को अब दूर किया जा रहा है।
ब्लॉक विकास अधिकारी (BDO) की भूमिका
संशोधित विधेयक के अनुसार, ग्राम पंचायतों के ब्लॉक विकास अधिकारी (BDO) को इन विज्ञापन संरचनाओं के अनुमोदन का मुख्य अधिकार दिया गया है। किसी भी व्यक्ति या एजेंसी को होर्डिंग या बैनर लगाने के लिए BDO के पास शुल्क के साथ आवेदन करना होगा। BDO नियमों के अनुरूप आवेदन को मंजूरी या अस्वीकृति दे सकता है।
इसके अलावा, एक बार लाइसेंस मिलने के बाद भी वह स्थायी नहीं होगा। अगर किसी प्रकार का उल्लंघन होता है तो BDO को उसे निलंबित या रद्द करने का अधिकार होगा। यह प्रणाली सार्वजनिक स्थानों के दुरुपयोग पर रोक लगाती है और स्थानीय प्रशासन को नियंत्रण प्रदान करती है।
प्रवर्तन और दंड का अधिकार
विधेयक का सबसे महत्वपूर्ण हिस्सा यह है कि BDO को बिना अनुमति के लगाए गए विज्ञापनों को जब्त करने और हटाने का अधिकार भी मिलेगा। यदि कोई बैनर, डिजिटल होर्डिंग या पोस्टर अनधिकृत रूप से स्थापित पाया जाता है तो BDO बिना किसी अतिरिक्त प्रक्रिया के उसे तुरंत हटा सकता है।
इससे ग्रामीण क्षेत्रों में दृश्य प्रदूषण, राजनीतिक दुरुपयोग और खतरनाक विज्ञापन संरचनाओं को रोका जा सकेगा, जिससे सौंदर्य और सुरक्षा को बढ़ावा मिलेगा।
STATIC GK SNAPSHOT (हिंदी में)
विषय | मुख्य जानकारी |
नया विधेयक उद्देश्य | ग्रामीण क्षेत्रों में होर्डिंग्स और बैनर्स की स्थापना को विनियमित करना |
संबंधित धारा | तमिलनाडु पंचायत अधिनियम की धारा 172-बी में संशोधन |
अनुमोदन प्राधिकारी | ब्लॉक विकास अधिकारी (BDO – ग्राम पंचायत) |
लाइसेंस प्रक्रिया | शुल्क सहित आवेदन, नियमों के आधार पर स्वीकृति या अस्वीकृति |
प्रवर्तन शक्तियाँ | BDO अनधिकृत विज्ञापनों को निलंबित, रद्द या हटाने का अधिकार रखता है |
विधेयक का उद्देश्य | दृश्य अनुशासन, स्थानीय शासन को सशक्त बनाना, सार्वजनिक सुरक्षा |